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Showing posts from March, 2019

कहती है मुझसे डर लगता है ?

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वो कुछ न कहती बस अपने में रहती कहती है मुझको क्यों? देखते हो एकटक होकर क्यों ? नहीं रहते अपने में खोकर सुनकर उसकी बातों को एक हँसी निकल पड़ती देखकर मेरे हाव भाव चढ़ जातें है उसके ताँव तपाक से बोलने की आदत ने मुझे हर जगह मरवा दिया जब वक्त आया उससे बोलने का एक प्रश्नचिन्ह लगा दिया रात्रि का तीसरा पहर जिंदगी में फिर बदकिस्मती का कहर कभी खुद सोच ना पाते कभी अपने को बता न पाते बड़ी हिम्मत से ये दिन लाये हम जब सामने खड़ी थी वो जज्बातों को रोक ना पायें हम धड़कने कुछ इस तरह से बढ़ गयी क्या बोलना चाह रहे थे ? ओर क्या बोल गए हम ? कुछ वो सुनती रही कुछ मैं भी उसकी सुनता रहा वो चंद पलो का समय यूँ ही खींचता रहा ना जाने क्यों जज़्बात मेरे होठों पर ना आते है दिल की धड़कने एक थक्का छोड़ जाती है सोचते थे कौतुहल बंद हो जायेगा उससे बात करते-२ वो  दे गई ऐसा गम आज तक भर नहीं पाया ओर रोते -२ थक गए हम !!

हिन्दू धर्म की त्रिमूर्ति ? कौन

हिन्दू धर्म की शुरुआत कहाँ से होती है? और कहाँ से कहाँ से पहुँच सकती है ये कहना लगभग असम्भव सा है ?  जब हिन्दू धर्म की शुरुआत की और देखते है तो सबसे पहले हम त्रिमूर्ति के बारे में जानते है ? हिन्दू धर्म के भौतिक रूप जो की वर्तमान में उपस्थित है को छोड़ देते है | त्रिमूर्ति , मतलब तीन ऐसे देवताओ की कल्पना जो अपने आप में श्रेष्ठ है |  ब्रह्मा  विष्णु  शिव ये तीनो त्रिदेव अपने आप में एक संसार लिए हुए है | और इतना विशाल संसार की आप चाहे तो पूरा जीवन लगा सकते है इन्हें समझने में | असल में ये हमारे मस्तिष्क की तीन सर्वश्रेष्ठ स्तिथि के प्रतिबिम्ब है | ब्रह्मा जहाँ एक और हमारे चतुर्दशी और बहु आयामी बुद्धि को दिखाता है  जिसे वो कुछ भी नया बना सकता है , नया सोच सकता है , नए नए आयाम खोज सकता है | वो गुण सिर्फ ब्रह्मा में है किसी और देवता या बाकी दोनों त्रिमूर्ति में नहीं है | ब्रह्मा ही सब कुछ जानते है भूत ,वर्तमान और भविष्य  सब कुछ लेकिन वो कुछ कर नहीं सकते , आप उनका फायदा नहीं उठा सकते | दुनिया भर की कहानियाँ हमें देखने को मिलती है जहाँ ब्रह्मा जानते हुए भी किसी को भी अमरता या शर्त

अभिनन्दन का अभिनन्दन और वीर ज़ारा -पार्ट 2

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भारत-पाकिस्तान को टीवी के आईने से देखे तो वो कुत्ते बिल्ली जैसे है | हम ज्यादातर दोनों मुल्को को केवल टीवी के जरिये ही देखते और समझते है | हाल ही के दिनों में जो टीवी पर बवाल कटा है , वो केवल एक बानगी भर है | किस्मत और तकनीक का कमाल ही कहा जा सकता है कि कुछ घंटो के अन्दर ही भारत का एक वीर सैनिक सकुशल अपने घर आ गया है |सरकार को मैं कभी किसी भी तरह का क्रेडिट नहीं देता ,क्यूंकि अपने नागरिको के लिए एक ईमानदार कोशिश करना उसका फ़र्ज़ है,यदि क्रेडिट की बात होगी तो लोग उसे खुद देंगे | विंग कमांडर अभिनन्दन की रिहाई और उनके जीवन को एक नया सवेरा दिखाने में सोशल मीडिया का बड़ा रोल है | भारत ने काफी देर में ये माना की उनका कमांडर उनके कब्जे में है | जबकि पाकिस्तान उनकी विडियो भी जारी कर चूका था | ये एक विडियो उनके लिए संजीविनी से कम नहीं है | जिसके जरिये भारत को पता चला कि उनका कमांडर कहाँ है और कैसा है ? नहीं तो भारत के लिए पता लगाना सालो का खेल हो जाता कि सर अभिनन्दन कहाँ और कैसे है ? लोगो ने सरकार के इस कदम को सराहा , और पिछले हालातो और सरकार के रवियो को जमकर कोसा , कुछ ने पाईलेट कालिया , औ